केरल के एक कैथोलिक स्कूल में पिछले 6 साल से वेतन न मिलने के कारण एक महिला शिक्षिका द्वारा आत्महत्या करने की खबर सामने आई है. मृतका का शव उसके घर से पाया गया है. केरल पुलिस इस मामले की जांच शुरू कर दी है. मामला केरल के कोझिकोड जिले की है.
बता दें कि मृतक महिला अलीना बेनी कोड़ेनचेरी जिले के एक कैथोलिक स्कूल ‘सेंट जोसेफ लोअर प्राइमरी’ में टीचर थीं. इस स्कूल को सरकार द्वारा संचालित किया जाता है. सैलरी न मिलने के कारण वह काफी समय से तनाव में थी जिसके बाद उन्होंने आत्महत्या कर ली.
क्या है पूरा मामला?
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, अलीना बेनी के पिता ने अपनी बेटी की मौत का जिम्मेदार स्कूल मैनेजमेंट को ठहराया है. उन्होंने कहा कि अलीना पहले कट्टीपाड़ा के लोअर प्राइमरी स्कूल में शिक्षिका थीं. उन्हें एक अन्य कर्मचारी के निलंबन के बाद वहां नियुक्त किया गया था. हालांकि, जब उस कर्मचारी की नौकरी बहाल हुई, तो अलीना की नौकरी छिन गई थी. अलीना ने जब इस अन्याय के खिलाफ आवाज उठाई, तो स्कूल प्रबंधन ने पिछले वर्ष जून में उन्हें एक नई पोस्टिंग दी थी.
परिजनों के मुताबिक, अलीना पहले कट्टीपाड़ा लोअर प्राइमरी स्कूल में शिक्षिका थीं, लेकिन जब एक निलंबित कर्मचारी की बहाली हुई, तो अलीना की नौकरी चली गई। विरोध के बाद स्कूल मैनेजमेंट ने जून 2023 में उन्हें एक नए स्कूल में नियुक्ति दी, लेकिन यहां भी शर्त रखी गई कि उन्हें पिछले 5 सालों के वेतन की कोई मांग नहीं करनी होगी.
अलीना ने यह सोचकर इस शर्त को स्वीकार कर लिया कि इससे स्थायी नियुक्ति की प्रक्रिया आगे बढ़ जाएगी, लेकिन जब महीनों बीत जाने के बावजूद उन्हें वेतन नहीं मिला, तो वह मानसिक रूप से परेशान रहने लगीं. पिता ने आरोप लगाया कि डायोसीस की शिक्षा एजेंसी ने उनकी बेटी से जबरदस्ती एक पत्र लिखवाया था.
स्कूल ने क्या कहा?
फादर जोसेफ वर्गीस ने कहा कि अलीना की स्थायी नियुक्ति के लिए शिक्षा विभाग में आवेदन दिया गया था, लेकिन कुछ तकनीकी कारणों से मंजूरी नहीं मिल पाई. उन्होंने यह भी कहा कि एजेंसी शिक्षकों की स्थायी नियुक्ति के लिए लगातार प्रयास कर रही है. हालांकि, फादर वर्गीस वेतन से जुड़े सवालों पर चुप्पी साध गए.